जयपुर। खाद्य पदार्थों पर जीएसटी लगाए जाने के फैसले को कांग्रेस ने छोटे खुदरा व्यापारी और मध्यम वर्ग के हितों पर कुठाराघात बताया है। कांग्रेस नेता किशोर शर्मा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से खाद्य पदार्थो पर जीएसटी वापस लेने की अपील की है।
कांग्रेस नेता किशोर शर्मा ने व्यापारियों पर केंद्र सरकार की ओर से जीएसटी थोपने का विरोध करते हुए कहा है कि जीएसटी के कर स्लैब से इन खाद्य पदार्थों को मुक्त रखा जाये। देश की 85 प्रतिशत जनता खुदरा किराना दुकानों पर निर्भर है। जीएसटी के नये प्रावधान देश के करोड़ों छोटे व्यापारियों की बुनियाद पर हमला है। परंपरागत व्यापार संरचना को नष्ट कर देंगे।
इस तरह के संकेत मिल रहे है कि आने वाले दिनों में खेतों से फल सब्जी लाने वाले किसानों को भी इसमें शामिल कर दिया जाए । लेकिन यह तय है कि अल्प आय वर्ग के दमन का एक कोड़ा मोदी सरकार ने बना दिया है, जिसकी मार बहुत गहरी होगी। उन्होंने कहा कि देश की जनता पहले से ही हर रोज बढ़ रही महंगाई के बोझ से दबी हुई है। ऊपर से खाद्य पदार्थो पर 5 प्रतिशत जीएसटी का भार मध्यम वर्ग की जनता और छोटे खुदरा व्यापारियों की कमर तोड़ देगा। केंद्र सरकार का यह तुगलकी फरमान किसी भी तरह से व्यवहारिक नहीं है।
जीएसटी के इस भार से मजदूर वर्ग और छोटे खुदरा व्यापारी का जीवन सीधे तौर पर प्रभावित होगा। हमारे देश का किराना व्यापार गली मोहल्ले के खुले खुदरा व्यापार पर टिका है। जिसमें दिहाड़ी मजदूर और मध्यम वर्ग का परिवार अपनी रोजमर्रा की रसोई की आवश्यकता पूरी करता है। आटा, दाल पर जीएसटी लगाने से छोटे खुदरा व्यापारियों का व्यापार महंगा हो जाएगा। सरकार हर रोज आम जरूरत से जुड़ी वस्तुओ को महंगा कर रही है। गैस सिलेंडर पर हर महीने दाम में बढ़ोतरी हो रही है। अब रसोई पर हमला बोला है।
सरकार ने पहले से ही रोजगार बंद कर बेरोजगारी बढ़ा दी है। अब खाने के सामान पर भी जीएसटी शर्मनाक कदम है।केंद्र सरकार के इस फैसले से लगता है कि छोटे व्यापारियों के हितों पर कुठाराघात कर बड़े संगठित व्यवसायियों को फायदा पहुंचाना चाहती है। कांग्रेस इस फैसले को कतई बर्दाश्त नहीं करेगी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी इस फ़ैसले को तुरंत वापस लेकर व्यापारियों और जनता को राहत दे।