नई दिल्ली : दिल्ली के उपराज्यपाल (LG) वीके सक्सेना ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सिंगापुर जाने के प्रस्ताव को वापस कर दिया है। इस प्रस्ताव में मुख्यमंत्री केजरीवाल ने सिंगापुर में आयोजित कॉन्फ्रेंस में जाने की अनुमति मांगी थी। LG ने सलाह दी है कि प्रथम दृष्टया यह मेयर का सम्मेलन है, जोकि मुख्यमंत्री के शामिल होने के अनुरूप नहीं है। LG के इनकार के बाद अब मुख्यमंत्री ने विदेश मंत्रालय को मंजूरी के लिए पत्र लिखा है। जिसमें उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद है कि मंजूरी मिलेगी क्योंकि यह यात्रा विश्व के शहरों के सम्मेलन में भारत को गौरवान्वित करेगी।
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को सिंगापुर में आयोजित कॉन्फ्रेंस में जाने की अनुमति न मिलने से आम आदमी पार्टी में गुस्सा दिख रहा है। डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने हमला बोलते हुए कहा कि ओछी राजनीति के तहत अरविंद केजरीवाल को सिंगापुर जाने नहीं दिया जा रहा है। इससे पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपने सिंगापुर दौरे को लेकर केंद्र सरकार पर हमला बोला था। केजरीवाल ने केंद्र से इजाजत न मिल पाने को पूरी तरह सियासी बताया था। उन्होंने कहा था कि उनके सिंगापुर दौरे से विदेशों में देश का नाम बढ़ेगा। केजरीवाल की सलाह है कि पार्टीबाजी छोड़ सबको एकजुट होकर देश की तरक्की की बात करनी चाहिए।
केजरीवाल के मुताबिक, सिंगापुर में हो जा रहे सम्मेलन में दुनिया भर के बड़े-बड़े नेता आएंगे। दिल्ली में शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में जो क्रांति हुई है और दिल्ली में अलग-अलग क्षेत्रों में जो तरक्की हुई है, उस दिल्ली मॉडल के बारे में वहां पर प्रस्तुत करने के लिए सिंगापुर की सरकार ने विशेष तौर पर बुलाया है। इस सम्मेलन में दुनिया भर के नेता दिल्ली मॉडल के बारे में सुनेंगे। इससे देश का गौरव बढ़ेगा और इससे देश का नाम होगा। दिल्ली मॉडल की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है।