चित्तौड़गढ़ : प्रदेश के चित्तौड़गढ़ जिले में 4 बहनों की डूबने से मौत हो गई। चारों खेत में पिकनिक मनाने गई थीं, जहां पानी से भरे गड्ढे में पैर फिसलने से हादसा हो गया। ग्रामीणों ने चारों के शव को बाहर निकाला। परिजनों की मांग पर रावतभाटा से मेडिकल टीम बुलवाकर मौके पर ही पोस्टमॉर्टम कराया गया।
रावतभाटा क्षेत्र के थमलाव गांव के दो भाइयों सुरेंद्र सिंह और हेमेंद्र सिंह के करीब 4 बीघा खेत में एक बड़ा गड्ढा बनाकर पानी जमा किया गया था। दोनों भाइयों की 4 बेटियां अपने खेत में पिकनिक के लिए गई थीं। निशा (22) पुत्री सुरेंद्र सिंह राजपूत, आशा (24) पुत्री सुरेंद्र सिंह, निक्की (18) पुत्री हेमेंद्र सिंह और चिकी (16) पुत्री हेमेंद्र सिंह के साथ उनका भाई भी खेत पर गया। वह उनको वहीं छोड़कर चला गया था। थोड़ी देर बाद वापस लौटने पर उसको चारों बहनें नहीं मिलीं। चप्पल वहीं देख उसने गांव वालों को जानकारी दी। इस पर ग्रामीण मौके पर पहुंचे और चारों के शव बाहर निकाले।
एक को बचाने गई, बाकी 3 लड़कियां भी डूबीं
एडिशनल एसपी ज्ञान प्रकाश नवल ने आशंका जताई कि एक बच्ची का पैर फिसला होगा तो बाकी तीनों ने बचाने की कोशिश की होगी। उनका भी बैलेंस बिगड़ा और चारों डूब गईं। पुलिस ने शव को बाहर निकालने के बाद उन्हें रावतभाटा ले जाने की बात कही, लेकिन घर वाले शाम से पहले अंतिम संस्कार करना चाहते थे। पुलिस को मौके पर ही मेडिकल टीम को बुलाना पड़ा। चारों शवों का पोस्टमॉर्टम किया जा रहा है। एसडीएम मुकेश मीणा ने बताया कि प्रशासन की ओर से जो भी सहायता राशि दी जानी चाहिए, वो दी जाएगी।
त्योहार के कारण आई थी गांव
सुरेंद्र सिंह अपने परिवार के साथ रावतभाटा में रहते हैं, जबकि हेमेंद्र सिंह गांव में ही रहते हैं। यहां इनका पुश्तैनी मकान है। त्योहार आने के कारण सभी गांव आए थे। सुरेंद्र सिंह पंचायत कर्मचारी हैं और हेमेंद्र खेती करते हैं। एक ही परिवार के 4 लोगों की मौत से पूरे गांव में मातम है। निशा BEd. कर रही थी, जबकि आशा सेकेंड ईयर में पढ़ रही थी।